चालू खाता: विशेषताएं और खोलना | Read this article in Hindi to learn about the important features and opening procedure of current account.

चालू खाता के महत्वपूर्ण विशेषताएं (Important Features of Current Account):

(1) व्यवहारों पर कोई सीमा नहीं:

इस खाते में व्यवहारों (Operations/Transactions) की संख्या पर कोई प्रतिबन्ध नहीं है ।

(2) मांग पर देय:

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इस खाते में राशि इस दायित्व के साथ स्वीकार की जाती है कि उसे जब भी मांगा जायेगा बैंकर द्वारा भुगतान कर दिया जायेगा (Payable on Demand) ।

(3) न्यूनतम राशि:

इस खाते के खोलने तथा जमा शेष (Balance) की न्यूनतम 500 रुपये राशि है ।

(4) न्यूनतम शेष न रहने अथवा अलाभप्रद खातों के संबंध में:

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खाते में न्यूनतम जमा शेष न रहे अथवा खाता अन्यथा लाभप्रद न हो (Remunerative) अर्थात् व्यवहारों की संख्या रखे जाने वाले शेष (Balance) के अनुपात में बहुत अधिक हो तो बैंकर 5 रुपये प्रति पृष्ठ (न्यूनतम 10 रुपये वार्षिक) चार्ज दिसम्बर माह में लगा सकता है । किन्तु यदि खाते में कोई व्यवहार न हो अथवा ग्राहक महत्वपूर्ण (Valued Customer) हो, तो यह चार्ज नहीं लगाया जाता ।

(5) चालू खातों पर ब्याज:

बैंक चालू खातों पर कोई ब्याज नहीं देते क्योंकि (a) उन्हें जमा राशियों के माँग पर देय भुगतानों हेतु बड़ी मात्रा में रोकड़ शेष (Cash Balance) बनाए रखने पड़ते है जिसके कारण उन्हें उन पर ब्याज की हानि उठानी पड़ती है, तथा (b) इन खातों में व्यवहारों की संख्या बहुत अधिक होने से बैंक को चैक बुक/स्टेशनरी/फॉर्म्स, खाता बहियों एवं कर्मचारियों पर बहुत अधिक व्यय करने पड़ते हैं ।

अपवाद (Exceptions):

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(a) क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों (Regional Rural Banks) के चालू खातों पर 6.5% वार्षिक दर से ब्याज दिया जाता है ।

(b) एक मृत चालू खातेदार के खाते के शेष पर उसकी मृत्यु के दिनांक से जमा-राशि के भुगतान-वापसी के दिनांक की सावधि के लिए सेविंग बैंक दर पर ब्याज दिया जाता है ।

ब्याज ऐसे व्यक्तियों के एकल स्वामित्व खातों (Sole Proprietary Accounts) तथा नकद साख खातों (Cash Credit Accounts) जिनमें जमाकर्ता की मृत्यु के दिनांक को क्रेडिट शेष हो, पर भी देय होता है । किन्तु ये प्रावधान ओवर सावधि जमाओं (Overdue Term Deposits) संयुक्त खातों तथा साझेदारी फर्मों, संयुक्त हिंदू परिवार फर्मों (HUF Firms) मिलाएं के नाम के खातों पर लागू नहीं होते ।

(6) विशिष्ट सेवाएं:

चैक द्वारा भुगतान एवं चैक-बिल संग्रहण की सामान्य सुविधाओं के अतिरिक्त इस खाते में:

(a) तृतीय पक्षकारों के तथा पृष्ठांकित चैकों के जमा करने एवं संग्रहण की,

(b) अधिविकर्ष (Overdraft) की तथा

(c) इस खाते के माध्यम से विभिन्न ऋणों एवं अग्रिमों की सुविधाएँ भी प्रदान की जाती है, जो अन्य प्रकार के खातेदारों को उपलब्ध नहीं होती ।

(7) निःशुल्क सेवाएं:

स्थायी अनुदेशों (Standing Instructions), सामान्य पत्र-व्यवहार, खाता विवरणों, चैकबुक, एक कार्यालय से दूसरे कार्यालय में खातों के अन्तरण, स्थानीय देय वेतन, पेंशन या वार्षिकी (Annuity) बिलों के संग्रहण तथा पेंशन भुगतान आदेशों की निरापद सुरक्षा आदि सेवाओं के लिए बैंकर कोई चार्ज नहीं लगाता ।

चालू खाता खोलना (Opening of Current Account):

(1) चालू खाता कौन खोल सकता है (Who may Open Current Account)?

(i) कोई भी एक व्यक्ति जो वयस्क हो ।

(ii) एक से अधिक व्यक्ति अपने संयुक्त नामों में ।

(iii) एकल-स्वामित्व संस्था (Sole Proprietorship Concern) ।

(iv) रजिस्टर्ड तथा अ-रजिस्टर्ड साझेदारी ।

(v) संयुक्त स्कन्ध कम्पनी ।

(vi) क्लब, सोसाइटी, एसोसिएशन या ऐसी प्रख्यात ।

(vii) ट्रस्ट ।

(viii) अन्य, जैसे निष्पादक एवं प्रशासक (Executors and Administrators), परिसमापक (Liquidators) आदि ।

(2) कौन खाता खोलने के पात्र नहीं हैं (Who are not Eligible to Open the Account)?

(i) सामान्यतः एक अवयस्क को चालू खाता नहीं खोलने देना चाहिए क्योंकि यदि उसके ऐसे खाते में अधिविकर्ष हो जाय तो वह उससे वसूल नहीं किया जा सकेगा ।

(ii) एक निरक्षर व्यक्ति (Illiterate Person) के नाम में भी चालू खाता नहीं खोला जाता क्योंकि चालू खाते का परिचालन चैक के द्वारा किया जाता है तथा निरक्षर व्यक्ति की दशा में क्लीयरिंग या किसी तृतीय पक्ष के माध्यम से प्राप्त चैक पर ऐसे व्यक्ति के अंगूठा-निशान की पहचान करना कठिन होता है ।

(3) निर्धारित प्रपत्र में आवेदन:

एकल-स्वामी, साझेदारी फमों तथा कम्पनियों द्वारा खाता खोलने के लिए बैंकों ने अलग-अलग आवेदन-पत्र निर्धारित किये है । खाता खोलने के इच्छुक व्यक्ति को सर्वप्रथत् निर्धारित प्रपत्र को पूर्णतः भरकर तथा अपने हस्ताक्षर करके बैंक में प्रस्तुत करना चाहिए ।

इस आवेदन-पत्र में आवेदक का नाम, पता, व्यवसाय आदि का पूर्ण विवरण देने के साथ-साथ परिचय करने वाले (Introducer) का नाम, पता एवं उसके हस्ताक्षर, खाते में व्यवहारकर्ताओं (Operators) (अर्थात् वे व्यक्ति जो खाते का परिचालन करेंगे) के नाम एवं नमूने के हस्ताक्षर, खाते के सम्बन्ध में विशेष निर्देश (Special Instructions) भी दिये जाते है तथा यह घोषणा भी करनी पड़ती है कि-”मैं/हम घोषणा करता हूं/करते हैं कि जमा चालू से सम्बन्धित व्यवसाय नियम मैंने पढ़ लिये हैं या मुझ/हमें पढ़कर समझा दिये गए हैं और मैं/हम उनसे प्रतिबन्धित होना अंगीकार करता हूं/करते है ।”

(4) भागीदारी-पत्र:

साझेदारी फर्म द्वारा खाता खोलने पर बैंक द्वारा निर्धारित भागीदारी-पत्र (Partnership Signatures) भरकर समस्त साझेदारों की ओर से तथा अपने निजी हस्ताक्षर (Personal Signatures) करने होते हैं ।

(5) परिचय:

बैंकर को चालू खाता खोलने से पूर्व ग्राहक का परिचय-संदर्भ (Introduction) प्राप्त कर लेना चाहिए तथा आवेदन-पत्र पर Introduced by स्थान पर परिचयदाता का नाम एवं पता देकर उसके हस्ताक्षर कराने चाहिए । अब परिचयदाता के हस्ताक्षर से निम्नलिखित प्रमाणन भी प्राप्त किया जाने लगा है ।

”I Certify that I have known Shri/Smt./Ku……..for the Last……..Years and confirm his/her occupation and address as stated in the application.”

Signature of Introducer

विशेष सावधानी (Special Precaution):

जब बैंक में किसी ऐसे पक्षकार द्वारा चालू खाता खोला जाय तो उस बैंक-शाखा के किसी अधिकारी से व्यक्तिगत् रूप से परिचित न हो तो बैंक के किसी ऐसे कर्मचारी को जो बहुत कनिष्ठ (Junior) न हो ऐसे नए ग्राहक की गोपनीय जाँच-पड़ताल कर 48 घण्टों में निम्नलिखित प्रारूप में रिपोर्ट प्रस्तुत करनी चाहिए-

“I had been to………………………………and have

(Location of new Customer)

Enquired about…………………………….residing/

(Name of the new Customer)

Carrying on business there since…….years.”

Signature

उपुर्यक्त रिपोर्ट ऐसे समस्त खातों के सम्बन्ध में अनिवार्यत प्राप्त की जानी चाहिए जिसमें व्यवहारों की संख्या बहुत अधिक हो तथा जिसमें आरम्भिक जमा राशि 10,000 रुपये से अधिक हो ।

(6) चैकों/बिलों आदि की व्यवस्था के सम्बन्ध में समझौता:

बैंकों द्वारा खाता खोलते समय एक और छपे हुए फॉर्म जाने वाले हस्ताक्षर कराए जाते है जिनमें ग्राहक द्वारा संग्रहण/बट्टे पर भुनाने हेतु बैंक में समय-समय पर जमा कराए जाने वाले चैकों/बिलो/हुण्डियों तथा अन्य बिलों के सम्बन्ध में सामान्य व्यवस्थाओं सम्बन्धी निर्देश होते हैं ।

(7) नमूने के हस्ताक्षर:

खातेदार को अपने 3 नमूने के हस्ताक्षर खाता खोलने के आवेदन-पत्र के अलावा बैंक द्वारा निर्धारित नमूने के हस्ताक्षर कार्ड (Specimen Signature Card) पर भी करने होते हैं । बैंक इस कार्ड को सुरक्षित रखती है ताकि आवश्यकता पड़ने पर ग्राहक द्वारा चैकों आदि पर किए गए हस्ताक्षरों का मिलान इस कार्ड पर दिए गए नमूने के हस्ताक्षरों से किया जा सके ।

(8) राशि जमा करना:

उपर्युक्त-वर्णित फॉर्मों को भरने के पश्चात् आवेदक खातेदार को खाते में जमा की जाने वाली आरम्भिक राशि (जिसका उल्लेख खाता खोलने के आवेदन-पत्र में भी किया जाता है तथा जो अर्क-सहकारी एवं ग्रामीण शाखा में खाता खोलने के लिए 300 रुपये तथा शहरी शाखाओं के लिए 500 रुपये से कम नहीं होना चाहिए) पे-इन-स्लिप (Pay-In-Slip) में भरकर जमा कस देनी चाहिए ।

(9) खाता खोलना:

बैंकर उपुर्यक्त वर्णित प्रपत्रों एवं जमा राशि प्राप्त करने के पश्चात् ग्राहक का चालू खाता खोल लेगा तथा ग्राहक को- (a) पे-इन-स्लिप पुस्तिका, (b) चैक-बुक, तथा (c) पास-बुक दे देगा जिनकी आवश्यकता ग्राहक को भविष्य में खाते के परिचालन करने हेतु होगी ।

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