आइसक्रीम कैसे बनाएं | Read this article in Hindi to learn about:- 1. आईसक्रीम का संगठन (Composition of Ice Cream) 2. आईसक्रीम उत्पादन तकनीक (Technology of Ice Cream Making) 3. कमियां कारण व बचाव (Defects-Causes and Prevention).

आईसक्रीम का संगठन (Composition of Ice Cream):

आईसक्रीम अन्तर्राष्ट्रीय दुग्ध उत्पाद है, अत: इसके संगठन में भी भिन्नता मिलती है ।

व्यवसायिक आईसक्रीम का औसत संगठन:

आईसक्रीम उत्पादन तकनीक (Technology of Ice Cream Making):

1. अवयवों का चयन (Selection of Ingredients):

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आईसक्रीम बनाने में अवयव अच्छी गुणवत्ता का, सस्ता, ताजा, उपलब्ध तथा उपभोक्ता की पसन्द का होना चाहिए । दुग्ध पदार्थों में दूध, क्रीम, बटर, बटर आयल, घी, संघनित दूध, स्किम दूध, दुग्ध चूर्ण आदि में से चुना जाता है ।

मिठास बनाने वाले पदार्थों में चीनी, शहद, कोर्न शक्कर, कोर्न शर्बत, कोर्न शर्बत ठोस, इनवर्ट शुगर आदि पदार्थ उपलब्ध है । स्थायी कारकों में पशु उत्पाद में जिलेटिन तथा पादप उत्पाद में सोडियम एल्जिनेट, काराग्रीन, अगर-अगर, काबोक्सि-मिथाईल-सैल्यूलोज (CMC), पैक्टिन तथा गोंद आदि आईसक्रीम बनाने में प्रयोग हेतु प्रयोग किये जाते हैं ।

आईसक्रीम मिश्रण में वसा के पायसीकरण के लिए दुग्ध प्रोटीन, लैसिथिन, फास्टफेटस तथा साईट्रेट अच्छे स्रोत हैं । इनके अतिरिक्त अण्डे का लैसिथिन, मोनोग्लिसराईड्‌स तथा डाईग्लिसराईडस का प्रयोग किया जा सकता है । आईसक्रीम में मिश्रण का 0.5% Eggs Yolk Solids मिलाने से गुणवत्ता सुधरती है ।

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घी या बटर का प्रयोग वसा स्रोत के रूप में करने पर यह पायसीकारक का कार्य भी करता है । फलों में सेव, केला, स्ट्राबैरी, आम, अन्नानास, अंगूर तथा नासपाती का प्रयोग किया जा सकता है । दूध के साथ आईसक्रीम में खट्टे फलों का प्रयोग न करें ।

फलों को प्रयोग से पूर्व साफ करके स्वच्छ ताजे 2.7 कि.ग्रा. फलों को 1 कि.ग्रा. चीनी के साथ मिला लें तथा आईसक्रीम मिश्रण में 10-15% की दर से मिलायें । फल हिमीकरण क्रिया की अन्तिम अवस्था में मिलाये जाते हैं । आईसक्रीम मिश्रण में 1 से 3 प्रतिशत तक सूखे मेवे भी मिलाये जा सकते हैं ।

आईसक्रीम में सुगन्ध के लिए कृत्रिम, प्राकृतिक या यौगिक सुवास प्रयोग की जा सकती है । प्राकृतिक सुवास में वैनिला के बीज से निर्मित वैनिला, कृत्रिम सुवास में लौंग (Clove) तथा कोनिफैरिन के तेल से निर्मित वैनिला, एवं यौगिक सुवास में Amyl Acetate (केले की सुवास), Ethyl Butyrate (अनानास की सुवास) तथा Amyl Valerate (सेव की सुवास) आदि प्रयोग किये जाते हैं ।

चोकोलेट तथा कोका भी सुवास के महत्त्वपूर्ण स्रोत हैं । उपभोक्ताओं को आकर्षित करने के लिए इसमें खाने के विभिन्न रंग भी मिलाये जाते हैं । कस्टर्ड, मेवा युक्त आईसक्रीम या पुडिंग में कुछ उत्पादक 0.1% नमक भी सुवास वृद्धि के लिए मिलाते हैं ।

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2. आईसक्रीम अव्यवों की गणना (Calculation of Ice Cream Ingredients):

आईसक्रीम के संगठन को निश्चित करके, उपलब्ध अव्ययों का संगठन ज्ञात कर लें ।

आईसक्रीम की तैयार की जाने वाली मात्रा तथा उसके संगठन के अनुसार विभिन्न अव्यवों की गणना की जाती है:

उदाहरण:

10 प्रतिशत वसा, 11 प्रतिशत वसा रहित ठोस, 13 प्रतिशत चीनी तथा 0.3 प्रतिशत स्थायीकारक युक्त 100 कि.ग्रा. आईसक्रीम मिश्रण बनाने के लिए आवश्यक दूध (6.8% वसा एवं 9.6% वसा रहित ठोस), 40 प्रतिशत वसा युक्त क्रीम (5.4% वसा रहित ठोस), सप्रेटा दुग्ध चूर्ण (0.5% वसा, 97% वसा रहित ठोस), चीनी तथा स्थायीकारक की मात्रा करें ।

हल:

आईसक्रीम की कुल मात्रा, मिश्रण में कुल वसा तथा वसा रहित दुग्ध ठोस की मात्रा विभिन्न समीकरण द्वारा बीजगणितीय विधि द्वारा निकालते हैं:

समी. 1. आईसक्रीम की कुल मात्रा (कि.ग्रा. में):

x + y + z + 13 + 0.3 = 100 कि.ग्रा.

या x + y + z = 86.7 …(1)

समी. 2. मिश्रण में वसा की कुल मात्रा (कि.ग्रा. में):

 

 

समी. 3. मिश्रण में वसा रहित कुल दुग्ध ठोस की मात्रा (कि.ग्रा. में):

समी. 1, 2 व 3 को हल करने पर:

(1) दूध की मात्र = 69.95 कि.ग्रा.

(2) क्रीम की मात्रा = 13.06 कि.ग्रा.

(3) वसा रहित दुग्ध चूर्ण की मात्रा = 3.69 कि.ग्रा.

(4) चीनी की मात्रा = 13.00 कि.ग्रा.

(5) स्थायी कारक की मात्रा = 0.3 कि.ग्रा.

कुल मिश्रण की मात्रा = 100 कि.ग्रा. (उत्तर) ।

3. आईसक्रीम निर्माण (Ice Cream Making):

उपयुक्त अव्यवों की आवश्यक मात्रा लेकर एकत्र कर लेते हैं । तरल अव्यवों को एक जगह मिलाकर 49°C ताप पर गर्म करके ठोस अव्यव मिलते हैं । यदि स्थायी कारक Na-Alginate लिया गया है तो ताप 72°C करते हैं ।

जिलेटिन लेने की स्थिति में उसे 9 गुने पानी में भिगो कर 5 मिनट तक 72°C ताप पर गर्म करें तथा जब अच्छी प्रकार हिलाते हुए मिलायें इससे पूर्व चीनी तथा दुग्ध चूर्ण को 49°C ताप पर मिलाते हैं ।

Na-Alginate को थोड़ी सी चीनी में मिला कर मिश्रण में मिलाते हैं । इस मिश्रण को 63°C ताप पर द्विअवस्था समांगीकृत (3000 PSI & 500 PSI) विधि से समांगीकृत करते हैं । समांगीकृत मिश्रण को 71.1°C पर 30 मिनट या 76.66°C पर 25 सैंकिड समय के लिए पास्तुरीकृत करते हैं ।

उच्च ताप गुणवत्ता सुधारता है परन्तु 76.66°C से अधिक ताप करने पर सुवास पर विपरीत प्रभाव पड़ता है । पास्तुरीकृत मिश्रण को 4.4°C पर 3-4 घन्टे के लिए रखते हैं । Na-Alginate प्रयोग करने की स्थिति में रखना (Ageing) आवश्यक नही है ।

-2 से -3°C ताप पर इसका हिमीकरण किया जाता है । आंशिक हिमीकरण होने पर फल मेवे, सुवास व रंग मिलाये जाते हैं । हिमीकरण पूर्ण होने पर 6-12 घन्टे के लिए -17 से -26°C ताप पर कठोरीकरण के लिए पैकेजिंग करके रखते हैं । विक्रय तक इस ताप पर इसे संग्रह करके रखा जाता है ।

ओवर रन (Over Run):

आईसक्रीम निर्माण के समय उसमें हवा भरने से आयन में वृद्धि हो जाती है । आईसक्रीम के इस आयतन वृद्धि को ही ओवर रन कहते हैं ।

अच्छी आईसक्रीम में ओवर रन निम्नानुसार पाया जाता है:

1. Packaged Ice Cream- 70 to 80 Percent

2. Bulk Ice Cream- 90 to 100 Percent

3. Softy- 30 to 50 Percent

ओवर रन निर्धारण के लिए निम्नलिखित सूत्र प्रयोग में लाये जाते हैं:

1. Over Run Percent:

Volume of Ice Cream Made – Volume of Mix Taken/ Volume of Mix Taken × 100

2. Over Run Percent:

Weight of Unit Volume of Mix Taken – Weight of Unit Volume of Ice Cream Made/Weight of Unit Volume of Ice Cream Made × 100

आईसक्रीम का मूल्यांकन (Judging of Ice Cream):

आईसक्रीम का मूल्यांकन उसके सुवास, गठन, पिघलने के गुण तथा रंग आदि को देख कर निम्नलिखित स्कोर कार्ड की सहायता से किया जाता है:

मूल्यांकन विधि:

आईसक्रीम का नमूना लेकर -15°C से -12°C ताप पर उसके Tempering करते हैं । मूल्यांकन कक्ष में कुछ समय रख कर उसका Tempering होने पर उसका परीक्षण किया जाता है । आईसक्रीम का पैकेज अच्छा, साफ व स्वच्छ हो ।

गन्ध अच्छी व सुहावनी, बदन व गठन सघन, मुलायम व एकमार हो, पिघलने के प्रति उचित प्रतिरोध हो । रंग आकर्षक समान तथा न्यूनतम जीवाणु संख्या होनी चाहिए ।

मूल्यांकन के लिए चम्मच में आईसक्रीम लेकर जीभ व दांतों द्वारा उसका स्वाद, बदन व गठन का मूल्यांकन करें । पिघलने के गुण के परीक्षण पश्चात उसकी Creamy, Curdled, Foamy या Watery प्रकृति को नोट करें ।

आईसक्रीम में कमियां कारण व बचाव (Defects in Ice Cream-Causes and Prevention):

आईसक्रीम निर्माण में न्यून गुणवत्ता युक्त अव्यवों का उपयोग, अनुचित विधि से मिश्रण निर्माण, दोषपूर्ण निर्माण विधि अपनाना या संग्रहण दशाओं में खामियां रहने के कारण पदार्थ में कुछ कमियां उत्पन्न हो सकती हैं । उद्योग में अच्छा लाभ कमाने के लिए पदार्थ की इन कमियों का कारण जान कर, उन्हें दूर करना आवश्यक होता है ।

इन कमियों का कारण तथा बचाव के उपाय यहां तालिका रूप में प्रस्तुत किये जा रहें हैं:

कमी का नाम:

 

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