Read this article in Hindi to learn about the construction, reading and accuracy of inside micrometer.
इनसाइड माइक्रोमीटर की बनावट और रीडिंग (Construction and Reading of Inside Micrometer):
इसकी बनावट में निम्नलिखित पार्ट्स होते हैं:
1. थिम्बल
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2. स्लीव
3. लॉक स्क्रू
4. एक्सटेंशन रॉड
5. स्पेसिंग कॉलर ।
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मीट्रिक पद्धति में रीडिंग लेना:
मीट्रिक पद्धति में इनसाइड माइक्रोमीटर के प्रायः दो सेट प्रयोग में लाये जाते हैं । पहला सेट 25 से 50 मिमी. वाला और दूसरा 50 से 150 मिमी. वाला होता है । 25 से 50 मिमी. सेट वाले इनसाइड माइक्रोमीटर की स्लीव पर 5 मिमी. के निशान बने होते हैं ।
इसके साथ 5 मिमी. का एक स्पेसिंग कॉलर, 10 मिमी. और 20 मिमी. की दो एक्सटेंशन रॉडें और एक हैंडल आता है । इससे कम से कम 25 मिमी. रीडिंग ली जा सकती है । थिम्बल को खोलकर 30 मिमी. तक, स्पेसिंग कॉलर लगाकर 35 मि.मी. तक और एक्सटेंशन रॉड लगाकर 40 से 50 मिमी. तक रीडिंग ली जा सकती है ।
50 से 150 मिमी. वाले सेट की स्लीव पर 13 मिमी. तक निशान बने होते हैं । इसके साथ 12 मि.मी. का स्पेसिंग कॉलर, 25 मिमी., 50 मिमी. और 75 मिमी. की तीन एक्सटेंशन रॉडें और एक हैंडल आता है । इससे कम से कम 50 मिमी. रीडिंग ली जा सकती है । थिम्बल को खोलकर 63 मिमी. तक, स्पेसिंग कॉलर लगाकर 75 मि.मी. तक और एक्सटेंशन रॉड लगाकर 100, 125 और 150 मिमी. तक रीडिंग ली जा सकती है ।
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रीडिंग लेते समय निम्नलिखित मान अवश्य ध्यान में रखने चाहिएं:
इनसाइड माइक्रोमीटर की शुद्धता चैक करना (Checking Accuracy of Inside Micrometer):
इनसाइड माइक्रोमीटर की शुद्धता चैक करने के लिए उसे किसी निश्चित रीडिंग तक खोलकर आउट-साइड माइक्रोमीटर से चैक कर लेना चाहिए । यदि दोनों माइक्रोमीटरों की रीडिंग एक हो तो समझना चाहिए कि इनसाइड माइक्रोमीटर ठीक है ।