संयुक्त राज्य अमेरिका के राष्ट्रपति का पावर फ़ंक्शन | Read this article in Hindi to learn about:- 1. अमेरिकी राष्ट्रपति का निर्वाचन विधि (Election Procedure of American President) 2. अमेरिकी राष्ट्रपति का पात्रताएँ, कार्यकाल और पदच्युति (Eligibility, Tenure and Dismissal of American President) 3. शक्तियाँ एवं कार्य (Powers and Functions).
अमेरिकी राष्ट्रपति का निर्वाचन विधि (Election Procedure of American President):
अमेरिकी संविधान राष्ट्रपति के अप्रत्यक्ष निर्वाचन की विधि उपलब्ध कराता है । फिर भी राजनीतिक पाटियों एवं राजनीतिक सम्मेलनों की वृद्धि ने इसे एक प्रत्यक्ष चुनाव में बदल दिया है । संविधान के अनुसार राष्ट्रपति को एक निर्वाचक मण्डल द्वारा चुना जाता है ।
इस निर्वाचक मण्डल के सदस्यों को सभी राज्यों की जनता के द्वारा प्रत्यक्ष रूप से चुना जाता है । राष्ट्रपति निर्वाचक समूहों की संख्या प्रत्येक राज्य के कांग्रेस में मौजूद प्रतिनिधियों (सीनेट और प्रतिनिधि सभा दोनों में) की संख्या के बराबर होती है ।
इसका अर्थ यह है कि निर्वाचक समूह में उतने ही सदस्य शामिल होते हैं जितनी कि कांग्रेस के दो सदनों की कुल संख्या होती है । इसके अलावा डिस्ट्रिक्ट ऑफ कोलम्बिया को तीन मत दिए गए हैं । इस प्रकार निवार्चक समूह की कुल संख्या 538 (प्रतिनिधि सभा के 435, सीनेट के 100 और डिस्ट्रिक्ट ऑफ कोलम्बिया के 3 प्रतिनिधियों के बराबर) हो जाती है । राष्ट्रपति के चुनाव में जीतने के लिए किसी एक उम्मीदवार को 270 मतों की आवश्यकता होती है जो कि आधे (269) से 1 मत अधिक है ।
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यहाँ इस बात पर जोर देना आवश्यक है कि निर्वाचक समूह के सदस्य, कांग्रेस के सदस्य नहीं होते हैं । निर्वाचक समूह एक विशिष्ट निकाय होता है जिसे केवल राष्ट्रपति के चुनाव के लिए ही निर्मित किया जाता है और इस चुनाव के बाद इसका विघटन हो जाता है ।
यदि कोई उम्मीदवार आवश्यक बहुमत प्राप्त करने में असफल रहता है तो प्रतिनिधिसभा निर्वाचक समूह में उच्चतम मत प्राप्त करने वाले 3 उम्मीदवारों के बीच में से राष्ट्रपति का चुनाव करती है । इस प्रकार का निर्वाचन 3 अवसरों (1800, 1824 और 1876) पर हुआ है ।
अमेरिकी राष्ट्रपति का पात्रताएँ, कार्यकाल और पदच्युति (Eligibility, Tenure and Dismissal of American President):
संविधान के अनुसार राष्ट्रपति चुनाव में भाग लेने वाले उम्मीदवार के लिए निम्नलिखित तीन योग्यताएँ आवश्यक हैं:
(i) उसे संयुक्त राज्य अमेरिका का जन्मजात नागरिक होना चाहिए । स्वाभाविक रूप से नागरिक बने व्यक्ति अपात्र माने जाते हैं ।
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(ii) उसे 35 वर्ष से अधिक आयु का होना चाहिए ।
(iii) उसके द्वारा संयुक्त राज्य अमेरिका में न्यूनतम 14 वर्ष के लिए निवास किया जाना चाहिए । भले ही यह अवधि निरन्तर रूप से व्यतीत न की गयी हो ।
राष्ट्रपति का कार्यकाल 4 वर्ष के लिए निश्चित होता है । वह केवल एक बार पुनर्निर्वाचित होने के लिए पात्र होता है । 1951 के 22वें संशोधन अधिनियम के द्वारा किसी भी राष्ट्रपति के लिए अधिकतम कार्यकाल अवधि 10 वर्ष निश्चित की गयी है ।
दूसरे शब्दों में किसी भी व्यक्ति को राष्ट्रपति के रूप में 2 बार से अधिक नहीं चुना जा सकता । राष्ट्रपति का 4 वर्षीय कार्यकाल 20 जनवरी से आरम्भ होता है । राष्ट्रपति को राजद्रोह, घूस या अन्य गंभीर अपराध एवं कदाचार के लिए महाभियोग के द्वारा उसके कार्यकाल से पहले ही पद से हटाया जा सकता है ।
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प्रतिनिधि सभा द्वारा बहुमत से महाभियोग की प्रक्रिया आरंभ की जाती है । इसके बाद इस मामले को सीनेट में भेज दिया जाता है । इस परीक्षण अवधि के दौरान सीनेट एक न्यायिक अभिकरण के रूप में कार्य करता है और इसकी अध्यक्षता सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायधीश द्वारा की जाती है ।
यदि सीनेट द्वारा भी 2/3 बहुमत से महाभियोग प्रस्ताव को पारित कर दिया जाता है तो राष्ट्रपति को महाभियोग द्वारा पद से हटा दिया जाता है । अभी तक कोई भी राष्ट्रपति महाभियोग की प्रक्रिया द्वारा नहीं हटाया गया है किन्तु 3 राष्ट्रपतियों- एण्ड्रयू जॉनसन (1868), रिचर्ड निक्सन (1974) तथा बिल क्लिंटन (1998) को महाभियोग प्रक्रिया का सामना करना पड़ा है ।
अमेरिकी राष्ट्रपति के शक्तियाँ एवं कार्य (Powers and Functions of American President):
अमेरिकी राष्ट्रपति का पद विश्व में सर्वाधिक शक्तिशाली लोकतांत्रिक पद है । लॉर्ड ब्राइस के अनुसार यह दुनिया में महानतम पद है । मुनरो ने कहा था कि- “अमेरिकी राष्ट्रपति लोकतंत्र में किसी भी व्यक्ति द्वारा अब तक धारण की जाने वाली सत्ता की सबसे अधिक मात्रा का प्रयोग करता है ।”
हैरॉल्ड लास्की के अनुसार- ”अमेरिका का राष्ट्रपति एक राजा से अधिक और कम दोनों है तथा यह एक प्रधानमंत्री से अधिक और कम दोनों भी है ।” राष्ट्रपति अपनी शक्तियाँ और कार्य 4 स्रोतों से प्राप्त करता है- संविधान, कांग्रेस की कार्यवाहियाँ, न्यायिक व्याख्याएँ और राजनीतिक सम्मेलन ।
इनका उल्लेख नीचे किया गया है:
(i) उसे पूरे देश में संविधान, संघीय कानूनों एवं संधियों तथा न्यायिक निर्णयों को लागू करना होता है ।
(ii) वह अमेरिका की सशस्त्र सेनाओं का सर्वोच्च सेनापति होता है ।
(iii) वह सर्वोच्च न्यायालय के न्यायधीशों, राजदूतों, विभागों के प्रमुखों, राजनयिक अधिकारियों, पार्षदों एवं अन्य शीर्ष अधिकारियों की नियुक्ति करता है ।
(iv) वह विदेश नीति निर्धारित करता है और अमेरिका के विदेशी मामलों को संचालित करता है ।
(v) वह संघीय कानूनों के विरुद्ध किए गए अपराधों (महाभियोग के अलावा) के लिए क्षमादान एवं प्राणदण्ड स्थगन प्रदान कर सकता है ।
(vi) जब किसी विधयेक को कांग्रेस के दोनों सदनों द्वारा उसकी सहमति के लिए भेजा जाता है तो उसके पास तीन विकल्प होते हैं:
(क) वह विधेयक को अपनी सहमति प्रदान कर सकता है और विधेयक कानून बन जाता है ।
(ख) वह विधेयक को अस्वीकृत कर सकता है और इसे 10 दिनों के भीतर कांग्रेस को वापस लौटा सकता है किन्तु यदि यही विधेयक कांग्रेस द्वारा 2/3 बहुमत के साथ पुन: पारित कर दिया जाता है तो विधेयक एक कानून बन जाता है और राष्ट्रपति को इस पर हस्ताक्षर करने पड़ते हैं । इसे निलम्बन निषेध अधिकार (ससपेंसिव वीटो) कहा जाता है ।
(ग) वह विधेयक को आरक्षित कर सकता है । इसके बाद यह विधेयक उसकी सहमति के बिना ही 10 दिन की अवधि बीत जाने के बाद कानून बन जाता है । किन्तु यदि कांग्रेस का सत्र 10 दिन की अवधि से पहले ही समाप्त हो जाता है तो विधेयक अपने आप ही मृत हो जाता है । इसे जेबी निषेधाधिकार (पॉकेट वीटो) के रूप में जाना जाता है और यह निरपेक्ष होता है ।
(vii) वह सदन में मौखिक भाषा या एक दस्तावेज के प्रेषण द्वारा कांग्रेस को कुछ विधायी उपायों का प्रस्ताव भेज सकता है ।
(viii) वह अतिमहत्वपूर्ण मामलों पर विचार के लिए कांग्रेस के विशेष सत्रों का आह्वान कर सकता है ।
(ix) वह राष्ट्रीय बजट तैयार करता है और इसे मंजूरी के लिए कांग्रेस के पास भेजता है ।
(x) उसे प्रशासनिक या कार्यकारी आदेशों के रूप में नियमों एवं विनियमों के निर्माण की शक्ति प्राप्त होती है । इसे प्रत्यायोजित विधायन कहा जाता है ।
(xi) वह सत्रावसान की तिथि के बारे में दोनों सदनों के बीच असहमति होने पर कांग्रेस के सत्रावसान की शक्ति रखता है ।